बात करिए तो रखिये निगाह तिरछी

बात करिए तो रखिये निगाह तिरछी
खतरा भी  है  निगाहों  से मिलना किसी का

ऊँगली भी उठाई तो तोड़ देंगे
हाकिम को है नही पसंद चलना किसी  का

हर बात पे यूँ ही नही हँसता हूँ मैं
हँसी आयी  है तो  तय  है जलना किसी का

तुमने देखी हो दुनिया जिस भी नज़र
है देखा कभी कहीं रुकना ढलना किसी का

तर्क ए रंज करो चाय पीते हैं
क्या  पता साथ हो ना हो कल ना किसी का

प्यार लोगो में नज़र आये न आये
नज़र आता है रंज ,  हाथ  मलना किसी का

तुमने देखी शय कभी देखा है
बाद मुद्दत के मिलकर बिछड़ना किसी का

मैं जो हूँ तो हूँ कहाँ इश्क़ में
बुरा भी नही लगा  दिल में खलना किसी का

नजर ही पढें एक दूसरे की हम
है अना से मुश्किल हर्फ़ निकलना किसी का

जो याद करिए तो याद रखिये
सोचने से  बदलता  नही  बदलना किसी का

पहले हँसते थे खुल के लोग
क्यूँ हो गया है बंद उनसे  खुलना किसी का

हैं नाराजगी तो बात करिए
होता बातों से आसाँ दिल बहलना किसी का

अजीब है ये दिल की बातें
जले खुद तो याद आता है जलना किसी का

कुछ सवालों के हल हैं यही नवाब
रहें सवाल ही हमेशा मिले हल ना किसी का







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